इदम् लोकाय
रविवार, 24 मार्च 2013
सो रहे तुम
खो रहे तुम
काटना है
बो रहे तुम
जग हँसेगा
रो रहे तुम
एक हो कर
दो रहे तुम
मैं रहूँगा
जो रहे तुम
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